स्वजनक संग महोत्तम मनबी, परम्परा प्राचीन
लोक कराय अभिलाषा,
फल धरी मात्र
इश्वराधीन
छठिहारे दिन लिखथि
विधाता,अटल लेख
निर्धारित
ग्रह नक्षत्रक गणित योग
पर, अखिल विश्व
संचालित
पांच मार्च क रहत
सोम दिन, चैतक
कृष्ण द्वितीया
वधु जयंती वर संजय
झा, राघव संग
जनु सीया
सौराठक श्री जीवछ
झा, करता पावन
कन्यादान
नागदह्क श्री हेम
चन्द्र झा, दशरथ
दिया दान
दूर्वाक्षत
दी आविसुदुर्लभ, पठवि
प्रेम हकार
करथि तिरोहित देव विनायक,
कालक कुटिल प्रहार
कुश कन्या प्रतिनिधि गोसाउनिक,
विष्णु तुल्य जामाता
भखियौलान्ही
रहस्य सम्पुट केर
चतुर्वेद व्यखाता
No comments:
Post a Comment